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मेरे ब्लॉग में आपका स्वागत है - हेम चन्द्र कुकरेती

Saturday, March 5, 2016

संरक्षा सप्ताह

सड़क पर सुरक्षा-
1. जीवन अमूल्य है, इसलिए जीवन संबंधी किसी भी वस्तु से समझौता न करें।
2. खरीदने के लिए वाहन का चयन करते समय दिखावे के बजाय उसमें लगे सुरक्षा उपकरणो व साधनों  को वरीयता दें।
3. आपके दुपहिया तथा चौपहिया वाहनों में पीछे देखने वाले दर्पण (रियर व्यू मिरर) आपकी सुरक्षा व सुविधा के लिए लगाए गए हैं, इसलिए उनको खुला रखें व समय पड़ने पर इस्तेमाल करें, न कि उनकी सुरक्षा के लिए उनको अंदर मोड के रखें। इनका मूल्य जीवन से अधिक नहीं है।
4. अपने व परिजनों की सुरक्षा के लिए, सुरक्षा साधनों (जैसे हेलमेट, सुरक्षित जूते आदि) के प्रयोग में ढिलाई न करें तथा वाहन सवारियों से या सामान से ओवरलोड न करें।
5. अपने बच्चों को सड़क सुरक्षा के बारे में समझाएँ तथा सुरक्षा में चूक से होने वाली दुर्घटनाओं व नुकसान के बारे में बताएं।
6. वयस्क होने के बाद, उपयुक्त प्रशिक्षण देकर तथा निर्धारित वाहन चालक लाइसेन्स बनवाने के बाद ही बच्चों को वाहन चलाने दें।
7. याद रखें सड़क दुर्घटनाओं में सर्वाधिक लोग अपना जीवन/अंग खो देते हैं, इसलिए सड़क पर पूरी तरह सतर्क रहें, बाएँ चलें, सुरक्षित व संतुलित मनस्थिति से तथा ध्यान से चलें/वाहन चलाएं।
8. विशेषकर वाहन चलाते समय अपने क्रोध व भावनाओं पर नियंत्रण रखें, स्वयं पर नियंत्रण रखने वाला ही वाहन पर उचित नियंत्रण रख सकता है।
9. सड़क पर अनावश्यक हॉर्न से ध्वनि प्रदूषण कर दूसरों का ध्यान न बिगाड़ें। स्वयं भी धैर्य रखें व दूसरों के धैर्य की परीक्षा भी न लें।
10. जिग-जैग ड्राइविंग व बाईं ओर से ओवरटेक न करें, जल्दबाज़ी करने से अनेक लोग स्वयं के साथ ही दूसरों के लिए भी मुसीबत खड़ी कर देते हैं।
11. अपने वाहन यथास्थान व ठीक से पार्किंग करें, पार्किंग सुविधा न होने पर सड़क से दूर या एकदम किनारे पर वाहन खड़ा करें।
12. पार्किंग करते समय ध्यान रखें कि उससे, आने-जाने वालों को या अन्य पार्किंग करने वालों को वाहन खड़ा करने या निकालने में असुविधा न हो।
13. सड़कों को कूड़ादान या रेत, बजरी आदि का भंडार स्थान बनाने से असुरक्षित वातावरण पैदा होता है, अतः ऐसा न करें और न ही किसी को करने दें।
14. सड़क में कभी भी दुर्घटना हो सकती है इसलिए आपातकाल की स्थिति को ध्यान में रखते हुए सभी मार्गों को खुला रखें तथा किसी भी प्रकार से अवरोधक स्थिति उत्पन्न न करें।
15. वाहनों पर गैर मानक के हॉर्न, बल्ब आदि न लगाएँ, ये भी दुर्घटनाओं का कारण हो सकते हैं। अपने वाहनों की नियमित सर्विस/जांच आवश्य कराएं।
16. अपने वाहन के सभी आवश्यक अद्यतन किए कागजात (लाइसेन्स, बीमा, पंजीयन प्रमाण पत्र आदि) सदैव वाहन के साथ रखें तथा आपातकाल में क्या करना चाहिए, उसकी जानकारी रखें।
17. ट्रैक्टर जैसे वाहन केवल कृषि उपयोग के लिए बनाए गए हैं, इनके परिवहन या भवन निर्माण सामग्री ढुलाई आदि व्यावसायिक कार्यों में दुरपयोग को रोकने का प्रयास करें, ताकि इनसे मुख्य मार्गों में होने वाली दुर्घटनाओं व असुविधाओं से बचा जा सके।
18. गैर मानक के वाहन जैसे ‘जुगाड़’आदि साधनों से बचें व इनके मुख्य मार्गों में प्रयोग को रोकने का प्रयास करें।
सावधान रहें, सतर्क रहें, सुरक्षित रहें, हर दुर्घटना से पूरे देश का नुकसान होता है।